दोस्त लड़की की चूत चुदाई तमन्ना पूरी हुई
ओल्ड फ्रेंड हॉस्टल सेक्स कहानी मेरी एक ऐसी दोस्त की चुदाई की है जिसे मैंने दोस्ती के दस साल बाद चोदा. उससे पहले हम कभी मिले भी नहीं थे, बस फोन पर सेक्स की बातें करते थे.
दोस्तो, मेरा नाम दीप है. मैं रायपुर छत्तीसगढ़ का रहने वाला हूँ.
वैसे तो मैं अंर्तवासना का पिछले बारह वर्षों से नियमित पाठक रहा हूं, पर मैंने आज तक कोई कहानी नहीं भेजी. यह मेरी पहली सेक्स कहानी है.
इससे पहले कहानी नहीं भेजने का कारण भी था. मैंने तय किया था कि मैं कभी भी झूठी या मनगढ़ंत कहानी नहीं लिखूंगा. जब तक मेरे साथ वास्तव में न हुआ हो, तब तक मैं कुछ नहीं लिखूँगा.
तो मैं आज मैं आपको अपनी रियल ओल्ड फ्रेंड हॉस्टल सेक्स कहानी सुनाने जा रहा हूं.
मैं आपको एक और बात बता दूँ कि मुझे बचपन से ही सेक्स में … एवं चुदाई के बारे में जानने की बहुत इच्छा रही है.
यह बात आज से दस वर्ष पहले की बात है.
मैं अक्सर अपने ऑफिस के काम से घर से बाहर रहा करता था और मैं अपना समय बिताने के लिए तरह तरह की साइट एवं सोशल मीडिया प्लेटफार्म में रूचि रखता था जो कि अडल्ट कहानियों एवं वीडियो से भरी हों.
मैंने फ़ेसबुक पर अपनी नकली प्रोफाइल भी बनायी थी जिसमें मैं कई लड़कियों से बात करता था और मेरा टाइमपास हो जाता था.
इसी बीच मुझे ज्योति शर्मा नाम की लड़की का मैसेज आया क्योंकि उसे शायद सेक्स के रिलेशनशिप के बारे लिखी गयी मेरी पोस्ट अच्छी लगी थी.
फिर ऐसे ही हम दोनों बातें करने लगे. पहले पहल तो हम दोनों सामान्य बातें करते थे, फिर बाद में चुदाई के बारे में भी बातें करने लगे.
वह भी बातें करने में बहुत माहिर थी. उसे सेक्स की बात करने में मजा आता था.
हम दोनों ने कई बार फोन सेक्स भी किया. वह भी अपनी चूत में उंगली करके शांत हो जाती थी और मैं भी हिला कर शांत हो जाता था.
मैं ज्योति के बारे में बता दूं कि वह बहुत गोरी, लम्बी हाइट की थी और अब तक वर्जिन थी. क्योंकि वह फोन में तो सब कुछ बोल देती, पर जब मिलने की बात होती तो साफ मना कर देती थी.
हमारे संबंध बने दस वर्ष ऐसे ही निकल गए. रात रात भर फोन सेक्स में हम बिना मिले ही एक दूसरे के बारे में सब जान गए थे.
जैसे हमें किस तरह की चुदाई करने में ज्यादा मजा आएगा, चूत चाटने, लंड मुँह में लेना, गंदी गंदी वीडियो देखने और भी बहुत कुछ.
ज्योति ने मुझसे चुदाई के बारे में सारा ज्ञान ले लिया था. लेकिन जब भी मिलने की बात होती वह टाल देती थी क्योंकि वह डरती थी.
ऐसे ही कई साल निकल गए और 2013 से 2023 आ गया.
इस बीच हमने कई बार मिलने का प्लान बनाया, होटल बुक किए … पर ऐन वक्त पर वह मना कर देती थी.
कई कई महीनों तक मैसेज का रिप्लाई नहीं करती थी. मैं बस उसका इंतजार करता रहता था.
ज्योति के बारे में एक और बात बता दूँ कि वह पढ़ने में बहुत अच्छी है और सिविल सर्विस एक्जाम की तैयारी कर रही थी. जिस वजह से उसने अब तक शादी भी नहीं की थी.
अब वह अपने घर से दूर रह कर दूसरे शहर में पीजी में रहकर अपने एग्जाम की तैयारी कर रही थी.
उसका दो बार रिटन निकला भी, पर वह इंटरव्यू में रह जा रही थी.
जनवरी 2023 को अचानक रात 11.30 बजे उसका मैसेज आया कि तुम कहां हो? मैंने कहा- मैं रायपुर में हूँ!
तो उसने इधर उधर की बातें की. मैंने कहा- मिलना है क्या?
क्योंकि उसे जब भी मन करता था फोन सेक्स या मिलने का प्लान बनाने का, तो ही मैसेज करती थी.
मेरी बात पर उसने कहा- हां आ जाओ मिलने! मैंने कहा- पक्का मिलना है न!
क्योंकि हर बार प्लान बनता था और रद्द हो जाता था. तो उसने कहा- हां पक्का मिलना है, तुम कल ही आ जाओ. क्योंकि पीजी में आजकल मकान मालिक भी नहीं है और मेरी तीनों रूममेट भी नहीं हैं.
मैंने बार बार उससे पूछा- पक्का ना, तुम चाहती हो ना … कोई प्रॉब्लम तो नहीं होगी ना! उसने कहा- इस बार पक्का हमें मिलना है और अपनी 10 वर्षों की इच्छा को पूरा करना है.
उस रात उसने मुझे एक और बात बतायी कि उसने एक वर्ष पहले अपने ब्वायफ्रेंड के साथ सेक्स किया था.
यह सुनकर मैं थोड़ा नाराज हो गया था क्योंकि उसने मुझे आज तक यह बात नहीं बतायी थी. खैर … इससे कोई फर्क नहीं पड़ता क्योंकि हमारा रिलेशन प्यार मोहब्बत वाला नहीं था.
उल्टा मैंने उससे कहा- ठीक है, अब तुम्हें दर्द नहीं होगा क्योंकि जब मेरा लंड तुम्हारी चूत में जाएगा तो तुम आसानी से ले लोगी. वह हंसने लगी.
हमारे बीच मिलना अन्ततः तय हो गया था.
हमने दूसरे दिन मिलने का प्लान पक्का किया और मैसेज में ही सारा प्रोग्राम सैट हो गया.
दूसरे दिन रात 8 बजे मिलन का टाइम फिक्स हो गया और हम सो गए.
यहां मैं अपने बारे में बता दूँ कि मेरी शादी हो गयी है. मैंने आज तक अपनी वाइफ के अलावा किसी और साथ सेक्स नहीं किया था.
हालांकि में स्पा में जाता हूँ तो वह एक्सट्रा सर्विस के नाम पर हेन्ड जॉब, बी टू बी करते थे.
मेरी हाइट 5 फुट 10 इंच है और लंड का साइज 6 इंच है. मेरी एक क्वालिटी है कि मैं फोरप्ले, किसिंग, सकिंग में माहिर हूँ और इन सबसे ही मैं सामने वाली को पूरी तरह गीला कर सकता हूं.
मुझे चूत चाटना, ऑस रिमिंग, बॉडी टू बॅाडी रबिंग करना बहुत अच्छी तरह आता है.
एक बात और कि सेक्स में कुछ गंदा नहीं होता चाहे कुछ भी करो, सामने वाले को मजा आना चाहिए. ज्योति मुझसे इसलिए भी मिलना चाहती थी क्योंकि यह सब उसे मुझसे करवाना था.
दूसरे दिन सुबह मैंने उसे मैसेज किया कि मैं शाम 5 बजे निकलूंगा तो 7 बजे तक पहुंच जाउंगा.
उसने भी मैसेज कर दिया कि मैं 5 बजे कोचिंग जाउंगी, तो 7 बजे तक वापस आ जाऊंगी.
मैंने दिन में ऑफिस का काम निपटाया और 4 बजे निकल गया, सीधे मेडिकल स्टोर पर गया, उधर से कन्डोम का बड़ा पैकेट और एक मसाज ऑइल ले लिया. फिर मैं रायपुर से निकल गया.
मैं 7.30 बजे ताज उसके शहर पहुंच गया और उसे कॉल किया.
उसने कहा- अभी 8.30 बजे तक रूको … क्योंकि मेरी पीजी के दूसरे माले में रहने वाली दो लड़कियां बाहर से वापस नहीं आई हैं.
मैं समय होने का इंतजार करता रहा. साढ़े आठ बजे उसका कॉल आया और उसने लोकेशन भेजते हुए कहा- नीचे का दरवाजा खुला है, तुम सीधे अन्दर ही आ जाना. मैं बाहर ही गेट पर खड़ी हूँ.
मैं जाने के लिए निकल पड़ा.
जैसे ही उसकी गली में पहुंचा, मेरी तो फटने लगी क्योंकि उस तरफ ज्यादातर लड़कियों की ही पीजी थीं. किसी ने देख लिया तो गए काम से.
मैं फोन में उससे बात करते करते सीधे उसके घर में घुस गया और ज्योति को अच्छी तरह से देख भी नहीं पाया.
उसने भी तुरंत गेट बंद किया और मेरे रूम में जाने के बाद पीछे पीछे आ गयी. अब मेरी जान में जान आई.
मैं उसके रूम में था.
मैंने उसे देखा कसम से वह एक मस्त माल हो गयी थी क्योंकि मैंने उस अब तक फोटो में ही देखा था. वह पूरे भरे बदन वाली गोरी, बड़े दूध वाली, गोल गोल बड़ी सी गांड वाली आइटम लग रही थी.
हमारी नजरें मिलीं, तो हम दोनों मुस्कुराने लगे थे.
उसने कहा- तुम नहा लो, मैं ऊपर की अपने सहेली से मिल कर आ जाती हूँ जिससे वह दुबारा नीचे न आए. मैंने कहा- ठीक है.
मैं नहाने चला गया.
नहा कर निकला तो मैंने उसे मिस कॉल किया तो वह नीचे आ गयी और दरवाजे खिड़की को अच्छे से बंद कर दिया ताकि किसी को कुछ पता ना चले.
हम दोनों ने बहुत देर तक एक दूसरे से बात की क्योंकि हम बहुत दिनों बाद पहली बार मिले थे.
हमने खाना खाया, जो उसने मंगा रखा था. डिनर करने के बाद हम बेड पर चले गए और लेटे लेटे ही बात करने लगे.
हमें लग ही नहीं रहा था कि हम पहली बार मिले हैं. मैंने ही उससे पूछा- हम बात ही करेंगे कि कुछ करेंगे भी? तो उसने कहा- रहने दो क्या करेंगे … मिलना था मिल लिए, अब सो जाते हैं!
मैं हंस दिया. क्योंकि मुझे मालूम था कि उसका मन भी चुदने का है.
उसने कहा- यार, मेरी गर्दन में दर्द हो रहा है. मैंने कहा- ठीक है मैं मसाज ऑइल तो लाया ही हूँ. तुम्हारी मसाज भी कर देता हूँ. उसने कहा- ठीक है.
वह पेट के बल अच्छे से लेट गयी.
मैं उसके साइड में बैठ कर धीरे धीरे उसकी गर्दन की मसाज करने लगा. उसे अच्छा लग रहा था.
फिर मैंने उससे कहा- इस टॉप को निकाल देता हूँ, अच्छे से करते बनेगा. उसने कुछ नहीं कहा मैंने निकाल दिया.
उसकी पीठ पर काली ब्रा की पट्टी बहुत ही खूबसूरत लग रही थी. मैं पीछे की साइड मसाज करते करते उसकी ब्रा के अन्दर हाथ डाल कर मसाज करने लगा.
उसे अच्छा लग रहा था.
फिर धीरे से मैंने उसकी ब्रा के हुक को खोल दिया और मसाज करने लगा.
उसने कुछ नहीं बोला क्योंकि उसे मालूम था कि आज हम सब कुछ करने वाले हैं.
अब उसके शरीर का आधा हिस्सा नंगा था. मैं बिल्कुल किसी प्रोफेशनल की तरह मसाज दे रहा था और साइड से उसके मम्मों को टच कर दे रहा था, वह सिसकारियां भरने लगती थी.
अब नीचे की बारी थी. मैंने झट से उसके लोवर को उतार दिया. अब वह केवल पैंटी में ही थी.
काली पैंटी में मेरी ज्योति बला की खूबसूरत लग रही थी क्योंकि उसका शरीर बहुत गोरा था.
उसने कहा- जब सब कुछ उतार दिया है, तो इसे क्यों बचाया है, इसे भी निकाल दो!
मैंने एक ही बार में उसकी पैंटी को भी निकाल दिया. अब वह पूरी नंगी थी और मैं केवल अपने अंडरवियर में था.
मैं उसके बैक साइड का मसाज करने लगा. मैंने बहुत सारा तेल डाल दिया था और मसाज करने लगा था.
उसकी गांड की मसाज करते समय मैं अपनी उंगलियों को उसकी गांड की दरार में डाल देता था, जिससे वह सिहर उठती थी और गांड को ऊपर करने लगती थी. ऐसा लग रहा था मानो कह रही हो कि और करो.
दोस्तो, मैं बता दूँ कि इसमें जो मजा आता है, वह उसे ही पता होगा जिसने कभी मसाज करवाई होगी.
अब मैं उसकी गांड के छेद को और चूत की दरार को पीछे से टच करने लगा था. वह भी कामुक सिसकारियां भरने लगी थी.
मैं उसके पैरों को फैला कर उसकी गांड के छेद और चूत में अपनी उंगलियों को दबाने लगा था.
मैंने धीरे से अपना अंडरवियर निकाल दिया और उसके ऊपर आ गया. मेरा लंड पूरी तरह तनतना गया था.
मैंने अपनी बॉडी पर तेल लगाया और उसके ऊपर भी बहुत सारा तेल लगा दिया.
मैं उसे बाडी टू बाडी मसाज देने लगा. इसमें उसे बहुत मजा आ रहा था.
ज्योति पागल हुई पड़ी थी क्योंकि मेरा लंड उसकी गांड की दरार में जाने लगा था. वह मदहोशी भरी आवाजें करने लगी थी- उम्म … उम्म आह … आह!
मैं उसकी गर्दन को चूम कर उसे और उकसा रहा था. साथ ही मैं पीछे से ही उसके दोनों मम्मों को अपने हाथों में ले कर दबाने लगा.
अब तक वह पूरी तरह पागल हो गयी थी. उफ्फ … इस आनन्द के लिए हम दोनों कब से तड़प रहे थे.
फिर मैंने उसे उल्टा होने कहा तो वह झट से पीठ के बल लेट गयी. हम दोनों की आंखों में केवल हवस दिख रही थी.
मैं उसके एक निप्पल को चूसने लगा. उसके मम्मे बहुत बड़े थे और निप्पल पूरी तरह टाइट हो गए थे.
वह कहने लगी- आह … अच्छा लग रहा है और जोर जोर से चूसो.
निप्पल से मैं नीचे की ओर आने लगा नाभि से होते हुए उसके पैरों को फैला कर मैंने अपना मुँह सीधे उसकी चूत पर लगा दिया और अच्छे से चूसने लगा. उसकी चूत बहुत गीली हो गयी थी तो मैं उसकी चूत की दोनों फांकों को फैला कर अपनी जीभ अन्दर गहराई में डालकर उसकी चूत को चाटे जा रहा था.
वह भी अपनी चूत उठा उठा कर मेरे मुँह में दे रही थी और अपने हाथों से मेरे सिर को चूत में दबा रही थी.
वह उस वक्त अपने मुँह से बड़ी ही मादक और कामुक आवाजें निकालने लगी थी.
हालांकि वह जोर से चिल्ला भी नहीं पा रही थी क्योंकि ऊपर वाले कमरे में उसकी सहेलियां थीं.
मेरा लगभग पूरा मुँह उसकी चूत के पानी से भीग चुका था. फिर मैं उसके ऊपर आ गया और अपने गीले मुँह से उसे माउथ टू माउथ किस करने लगा.
वह भी पागलों की तरह मेरे मुँह को चूसने चाटने लगी.
हम दोनों अपनी वासना के पूरे शवाब पर थे.
मैंने उससे पूछा- लंड डालूं! वह तो इसी इंतजार में थी.
पहले मैंने उसकी चूत में उंगली डाल कर देखी क्योंकि वह ज्यादा चुदी नहीं थी तो मेरी एक ही उंगली अन्दर गयी.
दो उंगली डालने पर वह कराह उठी. मैं समझ गया कि उसने शायद एक या दो बार ही सेक्स किया है.
तब मैं अपना लंड सैट करके धीरे धीरे उसकी चूत में डालने लगा. वह अपने दोनों हाथों की मुट्ठियां भींच कर आह आह … की आवाजें निकालने लगी.
तभी मैंने जोर का झटका देकर अपना पूरा लंड उसकी चूत में उतार दिया. वह मुँह दबा कर चीख पड़ी.
मैं उसके दर्द को देख कर थोड़ी देर रूक गया और कुछ पल बाद वापस धक्के मारने चालू कर दिए.
कुछ ही देर बाद वह मेरा पूरा साथ दे रही थी.
कसम से हम दोनों की खुशी का ठिकाना नहीं था क्योंकि दस साल से जो हम दोनों सोच रहे थे, वह अब हो रहा था.
मैं जोर जोर से चोदने लगा और वह भी ‘आह आह आह उम्म उम …’ की आवाजें निकालने लगी. वह पूरी तरह पागल हो गयी थी और अपनी गांड उठा उठा कर चूत देने लगी थी.
कुछ देर इसी पोज में चोदने की बाद मैं बहुत स्पीड से धक्का देते हुए झड़ गया. उसका भी पानी निकल चुका था.
पांच मिनट तक मैं उसके ऊपर ही पड़ा रहा. हम दोनों ने पहले ही सोच रखा था कि हम एक बार और करेंगे.
हम दोनों नंगे पड़े रहे और बातें करने लगे. थोड़ी देर बाद मेरा लंड भी तैयार था और ज्योति भी गर्मा गई थी. मैंने उससे कहा- तू ऊपर आ जा और मुझे चोद!
पर वह नहीं मानी क्योंकि उसने ऐसा कभी किया नहीं था. मुझे ही ऊपर आना पड़ा.
हम दोनों सीधे सीधे चुदाई का मजा लेना चाहते थे तो उसने अपनी दोनों टांगों को फैलाया और मैंने अपना लंड सीधे घुसा दिया.
लंड अन्दर जाते ही मैं उसे ताबड़तोड़ चोदने लगा. उसे चुदाई में बहुत मजा आ रहा था.
लंड जब अन्दर जा कर बाहर आता है … तब मानो स्वर्ग के सुख का आनन्द प्राप्त होता है.
ऐसे ही चुदते चुदाते हम दोनों झड़ गए और थक कर नंगे ही सो गए.
दूसरे दिन जब हम सुबह उठे तो हम दोनों के चेहरों पर अलग ही खुशी थी. हम दोनों फ्रेश होकर बैठ गए और बातें करने लगे.
उसने चाय बनाई और हम दोनों ने साथ में चाय नाश्ता किया. कुछ देर बाद हम दोनों लेट कर बातें करने लगे.
मैंने उससे कहा- जाते जाते एक बार और हो जाए! वह मुस्कुरा कर ना कहने लगी और बोली- ऊपर वाली लड़कियों के काम पर जाने का टाइम हो गया है, वे कभी भी नीचे आ सकती हैं.
यह सुनकर मैंने सोच लिया कि इसका मन नहीं है, वर्ना यह कहती कि कुछ देर रुक जाओ, फिर करते हैं.
इसलिए अब मैं निकलने ही वाला था कि कुल लोग गेट पर खड़े होके बातें कर रहे थे, तो अब मैं उनके वहां से हटने का इन्तजार करने लगे. पर वे लोग नहीं हटे.
मैं वापस आ गया और उसके साथ बेड पर लेट कर बातें करने लगा.
धीरे धीरे मैं उसे सहलाने लगा, उसकी टी-शर्ट के अन्दर हाथ डालकर उसके दूध दबाने लगा. वह कामुक सिसकारियां लेने लगी.
कुछ ही देर बाद मैंने उसके लोवर में हाथ डाल दिया और उसकी चूत में उंगली करने लगा.
मैंने उसका हाथ अपनी पैंट पर रखा और उससे बोला- देख मेरा लंड कितना टाइट हो गया है, अब तुझे इसे शांत करना पड़ेगा. उसने मेरे लौड़े को मसलते हुए कहा- इस रूम में नहीं करते हैं … क्योंकि बाहर आवाज जाएगी.
हम दोनों उठकर उसकी सहेली के कमरे में चले गए. उधर बेड को ठीक किया और हम दोनों एक बार फिर से चुदाई कार्यक्रम के लिए तैयार हो गए.
मैंने तुरंत अपने सारे कपड़े उतारे और नंगा होकर उसके सामने खड़ा हो गया. मेरी ओल्ड फ्रेंड मेरे फनफनाते हुए लौड़े को देखने लगी.
मैंने उसे बेड पर बिठाया और एक ही झटके में उसकी लोवर व पैंटी को एक साथ उतार दिया.
फिर अगले झटके में उसके पैरों को फैला कर लंड को उसकी चूत में ठोक दिया.
ज्योति बेड पर लेटी थी और मैं जमीन पर खड़ा था. इस पोजीशन में लंड अन्दर तक जाता है.
एकदम से लंड घुस जाने से ज्योति जोर जोर से आवाजें करने लगी- आह साले … चोद दे मुझे … इतने दिन तक सिर्फ मुझे चोदने का ही सोचता रहा था. भैनचोद और जोर जोर से पेल … आह फाड़ दे मेरी चूत चोद दे आह!
मैं दोनों हाथों से उसके मम्मों को मसल रहा था और लंड से चोदे जा रहा था. हॉस्टल सेक्स के कुछ देर बाद हम दोनों झड़ गए और एक दूसरे को कसके जकड़ लिया.
थोड़ी देर बाद हम दोनों अलग हुए. मैंने कपड़े पहने और निकलने के लिए तैयार होने लगा.
ज्योति ने बाहर जाकर ऊपर नीचे आस पड़ोस को चैक किया, तो उसने ग्रीन सिग्नल दिया. मैं एक झटके में उसके घर से निकल गया.
इस तरह हमारी दस वर्षों की चुदाई की तमन्ना पूरी हुई.
दोस्तो, यह एक रियल सेक्स स्टोरी है. इसमें मैंने कुछ भी बढ़ा-चढ़ा कर नहीं लिखा है.
मैं आशा करता हूँ कि आप सभी पाठकों को यह ओल्ड फ्रेंड हॉस्टल सेक्स कहानी पसंद आएगी. अपने कमेंट्स जरूर भेजें. [email protected]